पिछले हफ्ते लद्दाख की गलवान घाटी में भारत-चीन सैनिकों के बीच हुई हिंसक झड़प में 20 भारतीय सैनिक शहीद हुए थे, जिनमें 16 सैनिक बिहार रेजिमेंट के थे। बता दें कि भारतीय सेना ने बिहार रेजिमेंट के सैनिकों को श्रद्धांजलि देते हुए एक वीडियो ट्वीट किया है। वही पिछले सोमवार को देश के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने गलवान घाटी में चीनी सैनिकों द्वारा मारे गए बिहार रेजिमेंट के शहीद जवानों को सलामी दी थी, जिसके बाद शनिवार को भारतीय सेना ने एक वीडियो के साथ ट्वीट किया है।
भारतीय सेना की उत्तरी कमान ने अपने ट्विटर अकाउंड से वीडियो ट्वीट कर बिहार रेजीमेंट की शौर्य गाथा दिखाई गई है। इस ट्वीट के साथ ही लिखा है कि भारतीय सेना कारगिल के 21 साल…ध्रुव योद्धाओं की गाथा और बिहार रेजीमेंट के शेर लड़ने के लिए जन्में हैं, वे बैट नहीं बैटमैन हैं। हर सोमवार के बाद मंगलवार आता है। ‘बजरंग बली की जय’
#IndianArmy #21yearsofKargil
— NorthernComd.IA (@NorthernComd_IA) June 20, 2020
The Saga of #DhruvaWarriors and The Lions of #BiharRegiment.
"Born to fight.They are not the bats. They are the Batman."
"After every #Monday, there will be a #Tuesday. Bajrang Bali Ki Jai"@adgpi@MajorAkhill #NationFirst pic.twitter.com/lk8beNkLJ7
आपको बता दें कि लगभग दो मिनट के वीडियो में 1857 से 1999 तक सेना की रेजिमेंट द्वारा किए गए कठिन अभियानों के बारे में बताया गया है। जब बिहार रेजिमेंट की पहली बटालियन ने पाकिस्तानी सेना से कारगिल में एक रणनीतिक क्षेत्र पर कब्जा किया था।
वीडियो में मेजर अखिल प्रताप कह रहे हैं कि यह वही महीना था, 21 साल पहले। बिहार रेजिमेंट ने कारगिल घुसपैठियों को मार गिराया था। वे ऊंचाइयों पर भी थे और क्या वे तैयार थे। वे हिम्मत के साथ गए और गौरव के साथ वापस आए।
साथ ही आपको बताते चलें कि 16 बिहार रेजिमेंट के कमांडिंग ऑफिसर कर्नल संतोष बाबू को भी वीडियो में श्रद्धांजलि दी गई है, जो 15 जून की देर रात चीनी सैनिकों के साथ हुई झडप में शहीद होने वाले 20 जवानों में से एक थे।
बिहार रेजिमेंट 1941 में अंग्रेजों द्वारा बनाई गई थी और आजादी के बाद भारतीय सेना द्वारा लड़े गए सभी प्रमुख युद्धों का हिस्सा रही है।